सुप्रीम कोर्ट ने पूर्व चीफ जस्टिस रंजन गोगोई के खिलाफ यौन उत्पीड़न मामले में खुद के नोटिस (स्वतः संज्ञान) पर शुरू की गई सुनवाई गुरुवार को बंद कर दी। अदालत ने कहा कि पूर्व जस्टिस एके पटनायक की जांच किसी नतीजे पर नहीं पहुंची है। उनकी रिपोर्ट के आधार पर यह केस बंद किया जा रहा है। उन्हें साजिश की जांच करने का काम सौंपा गया था।
कोर्ट ने कहा कि केस को दो साल बीत चुके हैं, ऐसे में साजिश की जांच के लिए जरूरी इलेक्ट्रॉनिक रिकॉर्ड हासिल करने की संभावना बहुत कम रह गई है। सुप्रीम कोर्ट के वकील उत्सव बैंस ने जस्टिस गोगोई पर लगे यौन शोषण के आरोपों के पीछे साजिश होने का दावा किया था।
रिपोर्ट में साजिश को स्वीकार किया गया है
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि इस मामले में साजिश से इनकार नहीं किया जा सकता। दरअसल, जस्टिस गोगोई ने ब्श्रप् रहते हुए कुछ कड़े फैसले किए जो साजिश को बल देते हैं। रिपोर्ट में एक इंटेलिजेंस ब्यूरो के इनपुट का हवाला भी है। इसमें बताया गया है कि असम में नेशनल रजिस्टर ऑफ सिटिजन्स को आगे बढ़ाने की वजह से कई लोग जस्टिस गोगोई से नाखुश थे।