♦डॉ बीरेन्द्र कुमार महतो ♦
रांची: रांची विश्वविद्यालय सहायक प्राध्यापक अनुबंध संघ के प्रतिनिधियों ने आज झारखंड के वित्त मंत्री डॉ रामेश्वर उरांव से मुलाकात की और अनुबंध सहायक प्राध्यापकों को लॉकडाउन अवधि के लिए एक निश्चित मासिक मानदेय देने की मांग की। मंत्री ने प्रतिनिधियों की मांगों को उचित बताया और भरोसा दिया कि राज्य सरकार शीघ्र ही इस दिशा में ठोस कदम उठाएगी। कहा, वह स्वयं मुख्यमंत्री एवं प्रधान सचिव, उच्च शिक्षा विभाग से बात कर समाधान यथाशीघ्र निकालेंगे। भरोसा मिलने के बाद संघ की ओर से कार्य बहिष्कार आंदोलन को समाप्त कर दिया गया है।
रांची विवि का राज्य सरकार को पत्र
गौरतलब है कि रांची विश्वविद्यालय सहायक प्राध्यापक अनुबंध संघ की ओर से मांगों के समर्थन में जारी कार्यबहिष्कार के दौरान कल यानी 6 नवम्बर को रांची विश्वविद्यालय प्रशासन की ओर से घंटी आधारित अनुबंध सहायक प्राध्यापकों के लिए निश्चित मासिक मानदेय भुगतान करने के लिए एक पत्र राज्य सरकार को भेजा गया है। कुलपति की ओर से संघ के प्रतिनिधियों को भरोसा दिया गया कि अगर राज्य सरकार द्वारा जल्द ही निश्चित मासिक मानदेय भुगतान का निर्णय नहीं आता है तो वे अन्य उपलब्ध विकल्पों पर विचार करेंगे। उन्होंने संघ से अपील की है कि उन्हें इसके लिए कुछ और समय दिया जाए और कार्य बहिष्कार आंदोलन से सहायक प्राध्यापकगण वापस लौटें।
मांगें पूरी नहीं हुई तो फिर आंदोलन की चेतावनी
मंत्री और कुलपति की ओर से दिये गये आश्वासन के बाद रांची विश्वविद्यालय सहायक प्राध्यापक अनुबंध संघ की ओर से आंदोलन को स्थगित कर दिया गया है। कोल्हान विश्वविद्यालय में भी कार्यबहिष्कार को खत्म कर दिया गया है। साथ ही चेतावनी दी गयी है कि शीघ्र की मांगें पूरी नहीं हुई तो फिर आंदोलन किया जाएगा।
मंत्री और कुलपति के समक्ष रखी मांगें
मंत्री और कुलपति से मिलने वालों में रांची विश्वविद्यालय अनुबंध संघ के अध्यक्ष डॉ राकेश किरण की अगुवाई में महासचिव किशोर सुरीन, सचिव रामप्रवेश कुमार, संयुक्त सचिव शंकर मुंडा, उपाध्यक्ष मिथिलेश कुमार, कोषाध्यक्ष रवि कुमार, डॉ त्रिभुवन कुमार शाही, रितेश कुमार सिंह शामिल थे।